जय ध्वनी

जय ऊँ विष्णुपाद परमहंस परिव्राजकाचार्य श्री श्रीमद् अभयचरणारविन्द भक्तिवेदान्त स्वामी ठाकुर श्रील प्रभुपाद की जय

अनन्त कोटि वैष्णववृन्द की जय, नामाचार्य श्रील हरिदास ठाकुर की जय

प्रेम से कहिए श्री कृष्ण चैतन्य प्रभु नित्यानंद, श्री अद्वैत गदाधर, श्री वासादि गौरभक्तवृन्द की जय

श्री श्री राधा कृष्ण, गोप-गोपी नाथ, श्यामकुण्ड, राधाकुण्ड गिरि गोवर्धन की जय

श्री वृन्दावन मथुरा धाम की जय, श्री नवद्वीप मायापुर धाम की जय, श्री जगन्नाथपुरी धाम की जय

गंगा माई की जय, यमुना माई की जय, तुलसी महारानी भक्ति देवी वृन्दा देवी की जय

कलियुग धर्म हरिनाम संकीर्तन यज्ञ की जय

हरे कृष्ण महामंत्र की जय, वेदों के सार श्रीमद भगवद्गीता की जय, ग्रन्थराज श्रीमद्भागवतमकी जय

दिव्य प्रचार कार्यक्रम की जय, जीव जागो, भगवद्गीता समझो और समझाओ आन्दोलन की जय

निताई गौर प्रेमानन्दे, हरि-हरि बोल

आप सब सम्मिलित भक्तवृन्द की जय (तीन बार), हरे कृष्ण (तीन बार)

श्रीश्री गुरून् और गौरंगा की जय, भक्तिवेदांत स्वामी ठाकुर श्रील प्रभुपाद की जय |

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